अपराधों पर नियंत्रण के लिए इस्लामिक कानून की जरूरत : राज ठाकरे

Divakar Priyanka
महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना (एमएनएस) के प्रमुख राज ठाकरे ने अहमदनगर में एक नाबालिग लड़की से सामूहिक दुष्कर्म और उसकी निर्मम हत्या के सिलसिले पर भाजपा नीत महाराष्ट्र सरकार की आलोचना करते हुए कहा कि बच्चों और महिलाओ के विरूद्ध गंभीर अपराधों पर रोक के लिए शरीयत (इस्लामिक) जैसे कानून की आवश्यकता है। और यह भी कहा कि ऐसे लोगों के हाथों और पैरों को काट डालना चाहिए जो बच्चों और महिलाओं से दुष्कर्म और उनकी हत्या करते हैं। 
जिले के कोपर्डी गांव में 13 जुलाई को तीन लोगों ने 15 वर्षीय एक लड़की के साथ सामूहिक दुष्कर्म किया और फिर उसकी हत्या कर दी। राज ठाकरे ने कहा, ‘‘इस तरह की घटनाएं राज्य में बिगड़ती कानून व्यवस्था का नतीजा हैं और मौजूदा सरकार खुद को पिछली कांग्रेस-राकांपा नीत सरकार से भी बदतर साबित कर रही है।’’ जिला मुख्यालय से करीबन 76 किलोमीटर दुरी पर करजात तहसील स्थित कोपर्डी गांव का दौरा करने के बाद उन्होंने ये बातें कहीं। 
आज राज ठाकरे सुबह वहां गए और उन्होंने मृतका के परिवार से मुलाकात की और उनके प्रति अपनी सहानभूति दिखाई। राज ने कहा, ‘‘महिलाओं और बच्चों के खिलाफ गंभीर अपराधों पर नियंत्रण के लिए शरीयत (इस्लामिक कानून) जैसे कानूनों के निर्माण की तत्काल जरूरत है। समाज विरोधी तत्व आतंक की स्थिति पैदा कर रहे हैं और इसके लिए कानून को सख्त से सख्त बनाने की जरूरत है।’’
अनुसूचित जाति एवं अनुसूचित जनजाति के अत्याचारों पर रोक पर राज ठाकरे ने अधिनियम के गलत उपयोग पर काबू के लिए जरुरी बदलाव का भी सुझाव दिया। बाद में राज ने जिले के पाथर्डी में अपने पार्टी सहयोगियों के साथ भी बैठक की, जिसके बाद उन्होंने संवाददाताओं से कहा कि ‘‘अब समय आ गया है कि हम निश्चित रूप से उन अपराधियों के हाथों और पैरों को काट डालें जो नाबालिगों और महिलाओं के साथ बलात्कार और उनकी हत्या करते हैं।’’


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